Search Results for: अरस्तु

अरस्तु की दासता का सिद्धांत

            CONTENT: दास कौन है ?, दासता के पक्ष में अरस्तू के विचार, दासता के प्रकार, दास प्रथा में सुधार के लिए सूत्र , आलोचना अरस्तु के अनुसार दास प्रथा नगर राज्यों के संपूर्ण विकास के लिए अति आवश्यक है। दासों का तत्कालीन यूनानी समाज में एक महत्वपूर्ण योगदान है। […]

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अरस्तु की क्रांति का सिद्धांत

                   CONTENT: क्रांति का अर्थ , क्रांतियों के प्रकार, क्रांतियों के उद्देश्य, क्रांति के कारण, क्रांतियों को रोकने के उपाय, आलोचनाएं,   क्रांति का अर्थ  अरस्तु की क्रांति संबंधी धारणा तथा हमारी आज की क्रांति संबंधित धारणा में महान अंतर है। किसी राज्य में जनता अथवा जनता

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अरस्तु का आदर्श राज्य ( ideal state of aristotle )

                    CONTENT: आदर्श राज्य का उद्देश्य, आदर्श राज्य की विशेषताएं, आदर्श राज्य के आवश्यक तत्व, अरस्तु ने अपने ग्रंथ पॉलिटिक्स की सातवीं पुस्तक में अपने आदर्श राज्य का वर्णन किया है। अरस्तु के आदर्श राज्य का विचार उसका मौलिक विचार नहीं है। उसने मुख्य रूप से

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अरस्तू के संपत्ति संबंधी विचार

अरस्तू महान् दार्शनिक प्लेटो का महान् शिष्य था। अरस्तू के संपत्ति संबंधी विचार उसके गुरु प्लेटो के संपत्ति सिद्धांत का ही विस्तारित रूप है। गुरु-शिष्य के रूप में इन दो महान् दार्शनिकों का बीस वर्ष का सम्पर्क रहा। व्यक्तिगत रूप से पारस्परिक सद्भाव होने के बावजूद भी, इन दोनों के विचारों में बहुत गहरा अन्तर

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अरस्तू के संविधानों का वर्गीकरण

“वे संविधान, जो पूर्ण न्याय की दृष्टि से सामान्य हित का ध्यान रखते हैं, शुद्ध संविधान हैं। वे संविधान, जो केवल शासकों के व्यक्तिगत हित को ध्यान में रखते हैं, विकृत संविधान हैं या शुद्ध संविधान के विकृत रूप हैं।”—अरस्तू अरस्तू द्वारा संविधानों का वर्गीकरण राजनीति विज्ञान की कोई मौलिक देन नहीं है। उसने प्लेटो

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उदारवाद का अर्थ | विशेषताएं | आलोचना

  उदारवाद जिसे अंग्रेजी में liberalism कहते है, इस शब्द की उत्पति लैटिन भाषा के liber शब्द से हुई है, जिसका शाब्दिक अर्थ है स्वतन्त्र व्यक्ति। इस प्रकार इस सिद्धान्त का सार यह है कि व्यक्ति को स्वतन्त्रता मिले जिससे वह अपने व्यक्तित्व का विकास कर सके। उदारवाद एक विकासवादी विचारधारा है जिसका जन्म मध्य

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मैकियावेली आधुनिक राजनीतिक चिंतन का जनक

  मैकियावेली आधुनिक राजनीतिक चिंतन का जनक अधिकांश विद्वान मैकियावेली को आधुनिक युग का जनक मानते हैं। एक ओर उसे मध्ययुग का अंतिम विचारक कहा जा सकता है तो दूसरी ओर आधुनिक युग में प्रथम। मैकियावेली को आधुनिक युग का जनक कहने का तात्पर्य यही है कि आधुनिक युग मैकियावेली से प्रारंभ होता है और

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मैकियावेली के राज्य संबंधी विचार

  मैकियावेली के राज्य संबंधी विचार राज्य की उत्पत्ति : यद्यपि मैकियावेली ने राज्य की उत्पत्ति पर स्पष्ट रूप से अपने विचार व्यक्त नहीं किये हैं परंतु फिर भी यत्र तत्र इस विषय में उसके कुछ विचार पढ़ने को मिलते हैं। मैकियावेली राज्य की उत्पत्ति का कारण मनुष्य के आसुरी और स्वार्थी स्वभाव को मानता

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जे. एस. मिल का स्वतंत्रता संबंधी विचार

         CONTENT परिचय, स्वतंत्रता पर निबंध लिखने की प्रेरणा, स्वतंत्रता की परिभाषा, स्वतंत्रता के दार्शनिक आधार, स्वतंत्रता के प्रकार, स्वतंत्रता पर सीमाएं , आलोचनाएं, परिचय – जॉन स्टूअर्ट मिल का स्वतंत्रता संबंधी विचार ऑन लिबर्टी (1859) नामक ग्रंथ में निहित है। मिल का स्वतंत्रता संबंधी ग्रंथ अंग्रेजी भाषा में स्वतंत्रता के समर्थन

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प्लेटो का साम्यवाद : संपत्ति और पत्नि

                   content: संपत्ति का साम्यवाद, संपत्ति के साम्यवाद की आलोचना, पत्नियों का साम्यवाद, आलोचना, प्लेटो ने अपने आदर्श राज्य के लक्ष्य की प्राप्ति हेतु दो साधनों को प्रतिपादित किया है – एक, राज्य नियंत्रित शिक्षा और दूसरा, संरक्षक वर्ग के लिए संपत्ति और पत्नियों का साम्यवाद। इस

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